Gandhi Jayanti – गाँधी जयन्ती क्यों और कब मनाया जाता हे ?

राष्ट्र पिता महात्मा गाँधी को कोण नहीं जनता लेकिन क्या आपको पत्ता हे गाँधी जयन्ती क्यों और कब मनाया जाता हे ? – Gandhi Jayanti in Hindi सायद बहत सरे लोकको इस बात से अनजान हे ।
आज में आपको उसकी बारे में बताने जा रहा हूँ आप इस आर्टिकल को पढ़ने से गाँधी जयंती और बापू के सम्बधिंत बहत सरे जानकारी प्राप्त कर पाओगी ।
पुरे भारत बर्षा में ओक्टोबेट 2 तारीख को गाँधी जयंती की हिसाब से मनाया जाता हे । आप सभी को तो पत्ता ही होगा देश को स्वाधीन देने केलिए गांधीजी ने पुरे जिंदगी ऍग्रेज के साथ संघर्ष करते थे ।
गांधीजी का पूरा नाम हे महँ दाश करम चाँद गाँधी, जादासा लोक उसे महात्मा गाँधी नाम पर जानते हे ।
कोई उसे बापूजी नाम पर पुकारते हे तो और कोई उसे राष्ट्र पिता की नाम पर जानते हे देश को स्वाधीन देनेकी कारन उसे जातीय पिता यानि राष्ट्र पिता ही बोलै जाता हे । बापूजी का जितने भी नाम हे उनसभी का पीछे कुछ कारन होती हे ।
पुरे देश में उनकी जन्मदिन को याद रखने केलिए प्रत्येक बर्ष 2 अक्टूबर को ही गाँधी जयंती की हिसाबसे सभी स्कूल, कॉलेज और कोई अनुष्टान पर बहत ही धूम धाम से मनाया जाता हे ।
महात्मा जी खुद अहिंशा का पुजारी थे इसीलिए उसकी जन्म दिन को पुरे दुनिआ भर में अहिंशा दिबश की रूप में मानते हे ।
व शांति और सचाई की भी पुजारी थी जोकि खुद अहिंशा धर्म पालन करके ब्रिटिश शाशन की खिलाप स्वर उठे थी ।
इसीलिए मेने सच्चा क्यों ना आज मेरे दोस्तों को दुनिआ की इतने बड़े महात्मा जी के बारे में जानकारी दिए जाए, जिसके द्वारा दूसरे को पत्ता चल जाएगा गाँधी जी का जयंती क्यों और खूब मनाया जाता हे उसके साथ महात्मा गाँधी संबधित और भी कोई सबलो का जबाब आपको मिल जाएगी ।
गाँधी जयंती क्या हे जानिए हिंदी में – What is Gandhi Jayanti in Hindi
हमारे देश भारत इतिहास का सबसे गुरुत्व पूर्ण दिन हे महात्मा गाँधी (Gandhi Jayanti in Hindi ) का जन्मा दिन जोकि गाँधी जयंती की रूप में मनाया जाता हे ।
महात्मा गाँधी यानि महन दाश करम चाँद गाँधी का जन्म 2 अक्टूबर 1869 को गुजरात राज्य की पोरबंदर में हुई थी ।
ना ही केबल उनकी जनदिन को भारत में मनाया जाता हे बल्कि अहिंशा दिबश की रूप में पुरे बिस्व में पालन किया जाता हे ।
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और उसकी अहिंशा नीतिकी बिचार केलिए पुरे दुनिआ उनको सन्मान करती हे ।
गाँधी जी की प्रचेस्टा द्वारा हमारे देश को स्वाधीन मिली थी इस बात पर कोई संदेह नहीं ।
आखिर 2 अक्टूबर को ही क्यों गाँधी जयंती मनाया जाता हे ?
आप सभीने तो जानती होगी महात्मा गाँधी का पूरा नाम महन दाश करम चाँद गाँधी जिनका जन्म साल 1869 अक्टूबर 2 को पोरबंदर, गुजरात में हुई थी ।
ये व ब्यक्ति हे जो भारत को स्वतंत्रत देने केलिए इंग्रज की खिलाप अहिंशा लड़ाई की थी ।
बापूजी का एक लक्ष ये हे की शत्रु के साथ अंहिंसा, सचाई और ईमानदार के साथ लाधै कर के एक आदर्श समाज का गठन करना ।
व कहते हे की अंहिसा एक मात्र माध्यम हे जिसके द्वारा एक बेहतर समाज का गठन करना सम्भब हे ।
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कैसे मनाया जाता हे Gandhi Jayanti
महात्मा गाँधी (Gandhi Jayanti in Hindi) जन्मा दिनको एक राष्ट्रीय दिबश की रूप में नई दिल्ही राजघर में स्तित गाँधी प्रतिमा के सामने एक प्राथना सभा की आयोजन की जाती हे ।
उसी दिन हमारे देश का राष्ट्रपति और प्रधान मंत्री गाँधी प्रतिमा की ऊपर माला चढ़ती थी जंहा उनकी अंतिम संस्कार हुई थी ।
जन्मदिन पालन करते समय उनकी सबसे पसंद की संगीत “रघुपति राघबा राजा राम पति तपाबना सीता राम” बोलै जाता हे उनको याद करने केलिए ।
केबल नई दिल्ही पर उनकी प्रति मूर्ति पर ही क्यों बल्कि पुरे देश में जितना अनुस्ठान हे उन सभी पर 2 ओक्टोबरको गाँधी जयंती मनाया जाता हे ।
सभी सिक्ष्य अनुस्ठान के साथ अलग अनुस्ठान पर भी इस महन देशो सबक की फोट पर माला चढाकर अनंदा उल्लास के साथ पालन किया जाता हे ।
सभी बिद्यार्थी ने गांधीजी के बारे में कुछ भाषण दे कर दूसरे बिद्यार्थियों को उनकी बारे में बताते हैं, शिक्ष्यक ने भी महात्मा गाँधी के बारे में अपनी छात्रों को जानकारी देते हैं साथ ही अंहिसा निति के बारे में भी बताते हैं ।
जन्म जयंती पालन करने के बाद कुछ प्रतिजोगिता और कार्ज्यकर्म की आयोजन की जाती हे बिद्यालय की सभी छात्रों ने उन पर भाग लेते हैं ।
स्कूल, कॉलेज की सभी बिद्यार्थियों ने उसी दिन अलग-अलग बैनर बनाकर अपनी आस पास की गाओं में रैली करके लोकको शांति और अंहिंसा की महत्व को समझाते हे ।
कला और बिज्ञान की कुछ प्रतिजोगिता भी होती थी उनपर बिजय होने बाला को कुछ पुरष्कार राशि भी दिया जाता हे ।
Gandhi Jayanti कब मनाया जाता हे?
हर शाल गाँधी जयंती 2 अक्टूबर को मनाया जाता हे । उसी दिन भारत में ना ही केबल पुरे धरित्री में बापूजी को शन्मान देने केलिए पालन किया जाता हे, शांति और मोइत्री अंहिंसा के प्रतिक मान कर उसी दिन उनकी ऊपर माला पिंधायजाता हे ।
उसी दिन कोई सारे योजना भी होतेहै जैसे की स्मारक समारह, गाँधी आंदलोन से संबधित फिल्म, प्राथना आदि ।